Sadabahar ke patte ke fayde | खराब लाइफस्टाइल के चलते डायबिटीज की समस्या आम हो गई है। पहले तो डायबिटीज 50 साल से ज्यादा उम्र के लागों को होती थी, लेकिन जेनेटिक होने के कारण अब कम उम्र के लोग भी इसका शिकार हो रहे हैं। समय रहते इसे कंट्रोल कर लिया जाए, तो इसके बढ़ने की संभावना को कम किया जा सकता है। वैसे तो डायबिटीज को नियंत्रण में रखने के लिए लोग लौकी, गिलोय जैसे घरेलू नुस्खे अपनाते हैं, लेकिन आप चाहें, तो सदाबहार के फूलों (Sadabahar phool ke fayde in hindi) को अपने आहार में शामिल कर सकते हैं। इसे “एवर ब्लूमिंग ब्लॉसम” के रूप में भी जाना जाता है।
सदाबहार के पत्ते (Benefits of sadabahar leaves in hindi) में मौजूद हाइपोग्लेमिक गुण ब्लड शुगर को कम करने में मदद करता है। इस फूल (Sadabahar phool khane ke fayde) के अर्क को लेने से बीटा- पैन्क्रियाज सेल्स से इंसुलिन का उत्पादन होना शुरू हो जाता है। यह स्टार्च के ग्लूकोज में ब्रेक होने में भी हेल्प करता है, जिससे ब्लड शुगर लेवल में कमी आने लगती है। तो आइए जानते हैं क्या है सदाबहार और डायबिटीज के लिए इसका उपयोग कैसे किया जाता है।
सदाबहार क्या है?
सदाबहार एक पौधा है, जो आमतौर पर भारत में पाया जाता है और यह मेडागास्कर का मूल निवासी है। यह एक झाड़ी है, जो सजावटी पौधों के रूप में और औषधी बनाने के काम आती है। फूलों (Sadabahar ke phool ke fayde) के साथ चिकने, चमकदार और गहरे रंग के पत्ते टाइप 2 डायबिटीज के लिए प्राकृतिक औषधि के रूप में काम करते हैं।
आयुर्वेदिक विशेषज्ञों के अनुसार, सदाबहार के फूल और पत्तियों का इस्तेमाल ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने के लिए किया जाता है। आइए जानते हैं आखिर सदाबहार का ये पौधा कौन-कौन से रोग दूर रखने में मदद करता है।
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सदाबहार के पत्ते के फायदे | Sadabahar ke patte ke fayde
आइए जानते हैं आखिर सदाबहार का ये पौधा कौन-कौन से रोग दूर रखने में मदद करता है।
डायबिटीज करता है दूर
सदाबहार की जड़ों में रक्त शर्करा को कम करने का गुण मौजूद होता है। ये पैंक्रियास की बीटा सेल्स को शक्ति प्रदान करता है, जिस से पैंक्रियास सही मात्रा से इन्सुलिन निकालने लगती है। इन्सुलिन ही वो हॉर्मोन है जो ब्लड में शुगर की मात्र को संतुलित करके रखता है।
हाई ब्लड प्रेशर
सदाबहार की जड़ में अजमलिसिन और सर्पटाइन नामक क्षाराभ पाए जाते हैं, जो के एंटी अतिसंवेदनशील होते हैं। ये गुण उच्च रक्तचाप के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं। इसकी जड़ को साफ करके सुबह चबाकर के खाने से हाई ब्लड प्रेशर में काफी आराम मिलता है।
पेट के लिए फायदेमंद
सदाबहार की जड़ का उपयोग पेट की सेहत को बनाए रखने के लिए भी किया जाता है। जिन लोगों को कब्ज रहता है या फिर पेट के अन्य रोग परेशान करते हैं, उनके लिए भी यह पौधा बहुत लाभदायक होता है।
मुंह व नाक से खून निकलना
विकां का उल्लेख ब्रिटेन औषधीय शास्त्र में सातवीं शताब्दी में मिलता है। कल्पचर नामक ब्रिटिश औषधी विशेषज्ञ ने मुंह व नाक से खून निकलने इसके प्रयोग की सलाह दी थी। लॉर्ड बेकन ने भी अंगों की जकड़न में इसका प्रयोग को लाभदायक बताया। वैसे स्कर्वी, अतिसार, गले में दर्द, टांसिल्स में सूजन, रक्तस्नव आदि में भी यह लाभदायक होता है।
कैंसर में फायदेमंद सदाबहार की पत्तियां
सदाबहार की पत्तियों (Sadabahar leaves benefits in hindi) में मौजूद कैंसर रोधी गुण शरीर में कैंसर सेल्स को खत्म करने या ठीक करने का काम करते हैं। सदाबहार की पत्तियों (Benefits of sadabahar leaves in hindi) में मौजूद विन्क्रिस्टिन और विंब्लास्टिन एल्कलॉइड कैंसर की कोशिकाओं को खत्म करने के लिए बहुत फायदेमंद होते हैं।
डिप्थीरिया रोग में फायदेमंद
सदाबहार की पत्तियों में मौजूद विण्डोलीन नामक क्षार डिप्थीरिया के जीवाणु कारिनेबैक्टिीरियम डिप्थेरी के खिलाफ सक्रिय होता है। इसलिये इसकी पत्तियों के सत्व का उपयोग डिप्थिीरिया रोग के उपचार में किया जा सकता है।
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स्किन से जुड़ी समस्याओं में उपयोगी
सदाबहार की पत्तियों का इस्तेमाल स्किन से जुड़ी समस्याओं में बहुत फायदेमंद होता है। स्किन पर खुजली, इन्फेक्शन या अन्य समस्या होने पर प्रभावित जगह पर सदाबहार की पत्तियों का लेप लगाने से फायदा मिलता है। इसके अलावा सदाबहार की पत्तियां कील, मुहांसे और झुर्रियों आदि के लिए भी बहुत उपयोगी होती हैं।
किडनी स्टोन की समस्या में फायदेमंद
किडनी स्टोन की समस्या में सदाबहार की पत्तियों का इस्तेमाल बहुत फायदेमंद (Sadabahar ke patte ke fayde) होता है। किडनी की पथरी होने पर सदाबहार की पत्तियों को पानी में उबालने के बाद इस पानी को पीने से फायदा मिलता है।
गले में इन्फेक्शन की समस्या में फायदेमंद
सदाबहार की पत्तियां गले में इन्फेक्शन की समस्या में बहुत फायदेमंद (Sadabahar ke patte ke fayde) होती हैं। इसमें मौजूद एलकालॉइड्स, एजमेलीसीन, सरपेन्टीन नामक तत्व शरीर में मौजूद संक्रमण को दूर करने में बहुत उपयोगी माने जाते हैं। इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए भी सदाबहार की पत्तियों का काढ़ा और रस बहुत उपयोगी होता है।
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डिप्थीरिया रोग में फायदेमंद
सदाबहार की पत्तियों में मौजूद विण्डोलीन नामक क्षार डिप्थीरिया के जीवाणु कारिनेबैक्टिीरियम डिप्थेरी के खिलाफ सक्रिय होता है। इसलिये इसकी पत्तियों के सत्व का उपयोग डिप्थिीरिया रोग के उपचार में किया जा सकता है।
सांप एवं बिच्छू के जहर को फैलने से रोकने में असरदार
सदाबहार की पत्तियों का रस सांप एवं बिच्छू के काटने पर जहर को फैलने से रोकने एवं घाव भरने में भी कारगर है। इसके एक चम्मच रस को पीने एवं इसे प्रभावित स्थान पर लगाने से जहर पूरे शरीर तक नहीं फैल पाता है।
पीरियड्स की अनियमितता को दूर करने में असरदार
सदाबहार की पत्तियों (Sadabahar ke patte ke fayde) का रस महिलाओं के पीरियड्स की अनियमितता को दूर करने एवं अधिक रक्त स्त्राव की दिक्कत को दूर करने का भी काम करता है। इसके सेवन से कमजोरी से भी छुटकरा मिलता है।
दिमागी बीमारियों को ठीक करने में भी बहुत कारगर
सदाबहार की पत्तियों का रस दिमागी बीमारियों को ठीक करने में भी बहुत कारगर है। इसमें मौजूद पोषक तत्व अनिद्रा, अवसाद, पागलपन और एनजाइटी जैसी बीमारियों से बचाता है। यदि किसी व्यक्ति को नींद न आने व टेंशन से सिर भारी होने की शिकायत है तो इसके एक चम्मच रस को शहद के साथ मिलाकर पीने से बीमारी ठीक हो जाएगी।
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मधुमेह के लिए सदाबहार का उपयोग करने के तरीके
- पहला तरीका- सदाबहार की ताजी पत्तियों को सुखाकर पाउडर बना लें और कांच के कंटेनर में भरकर रख लें। मधुमेह को नियंत्रण में रखने के लिए सुबह खाली पेट 1 चम्मच सूखे पत्तों का चूर्ण पानी या ताजे फलों के रस में मिलाकर सेवन करें।
- दूसरा तरीका- सदाबहार के पौधे की 3-4 पत्तियों को दिनभर में चबाएं। ताकि अचानक से ब्लड शुगर में वृद्धि न हो पाए।
- तीसरा तरीका- ताजे तोड़े गए सदाबहार के फूलों को पानी में उबाल लें। इसे भीगने दें और फिर छान लें। मधुमेह को नियंत्रित करने के लिए इस कड़वे तरल को सुबह खाली पेट पीएं। ब्लड शुगर लेवल काफी हद तक कम हो जाएगा।